![]() |
| लखनऊ में निजीकरण का विरोध, प्रदेशभर में विरोध-प्रदर्शन जारी |
लखनऊः उत्तर प्रदेश में निजीकरण को लेकर प्रदेशभर में विरोध-प्रदर्शन जारी है। सोमवार दिनभर बिजली कर्मचारियों ने कार्य बहिष्कार किया। कार्य बहिष्कार के दौरान फॉल्ट की मरम्मत व उपभोक्ता सेवाओं से जुड़े कार्य प्रभावित रहे। और तो और ऊर्जा मंत्री के आवास सहित कई क्षेत्रों में बिजली संकट बना रहा। इस बीच ऊर्जा प्रबंधन और जिला प्रशासन ने बिजली सप्लाई बहाल रखने के लिए पुलिस के पहरे के साथ कई वैकल्पिक इंतजाम किए, लेकिन फॉल्ट के आगे सभी धराशाई हो गए।
लखनऊ में सोमवार से शुरू बेमियादी हड़ताल में राजधानी के अभियंता और कर्मचारी कूदे तो बिजली व्यवस्था ध्वस्त हो गई। शहर के कई इलाकों में सात से दस घंटे तक बिजली संकट रहा। मेरठ में पीवीवीएनएल मुख्यालय ऊर्जा भवन पर जमा हुए बिजली कर्मचारियों ने सोमवार को सरकार पर जोरदार हमला बोला। इस दौरान कैश काउंटर और कार्यालय बंद रहने से न तो बिल जमा हो सके और न ही कनेक्शन संबंधी काम हो सके। लोगों को मायूस होकर लौटना पड़ा।
उधर गोरखपुर में शहर से लेकर देहात तक के कई क्षेत्रों में सुबह से तो कई क्षेत्रों में दोपहर बाद से बिजली गुल रही। बिजली न होने से गीडा के कई कारखानों में काम ठप रहा। देर रात तक आपूर्ति बहाल नहीं हुई तो लोग सड़कों पर उतरने लगे। कई जगहों पर लोगों ने विरोध-प्रदर्शन किया। जाम लगाया और बिजली उपकेंद्रों का घेराव किया।
बरेली में बिजली कर्मचारियों का कार्य बहिष्कार जारी रहा, संविदा कर्मियों ने उपकेंद्रों पर सप्लाई व्यवस्था संभाली। किसी भी तरह की तोड़फोड़ और अराजकता से निपटने के लिए प्रशासन ने कार्यालय और स्टेशनों पर सुरक्षा बल तैनात कर दिया है। प्रयागराज में बिजलीकर्मियों के हड़ताल पर जाने से जिलेभर की बिजली व्यवस्था चरमरा गई। जगह.जगह लोकल फाल्टए बेक्रडाउनए फीडर की खामी से आपूर्ति बाधित रही। इससे सैकड़ों गांव प्रभावित रहे। बिजलीकर्मी समस्या दूर करने के लिए आगे नहीं आए। कई इलाकों में दिनभर बिजली गुल रही।

एक टिप्पणी भेजें
please do not comment spam and link