जमीयत राष्ट्रीय प्रबंधक कमेटी के दो दिवसीय अधिवेशन में देश भर से जुटे प्रमुख उलमा ने वर्तमान हालात पर चिंता जताई! मौलाना महमूद मदनी ने कहा कि मुसलमानों मध्यकालीन भारत के मुस्लिम शासकों इस्लामी सभ्यता और संस्कृति के खिलाफ भद्दे और निराधार आरोप लगाए जा रहे हैं! सत्ताधारी लोग उनके खिलाफ कानूनी कार्रवाई करने के बजाए उनके हौसले बढ़ा रहे हैं! मुसलमान देश का सबसे कमजोर तबका है इसका अर्थ यह नहीं कि हम हर बात को सिर झुका कर मानते जाएंगे!
मौलाना महमूद मदनी ने अध्यक्षीय भाषण में सरकार और r.s.s. पर हमला बोलते हुए कहा सभी राष्ट्र निर्माण की बात करते हैं लेकिन नफरत के मुद्दे पर खामोश रहते हैं अखंड भारत की बात करने वालों ने देश के मुसलमानों को रास्ते पर चलना मुश्किल कर दिया है! आरोप लगाया कि सरकार ऐसे लोगों को संरक्षण दे रही है जो मुसलमानों के खिलाफ नफरत फैला रहे हैं!
अधिवेशन में मौलाना महमूद मदनी ने धैर्य और साहस का बड़ा परिचय देते हुए बड़ी बात कही, कहा कि मस्जिदों पर रविवार को जमात फैसला लेती इसके बाद कोई कदम पीछे नहीं हटे गा हमारा जिगर जानता है कि क्या मुश्किलें हैं इन्हें बर्दाश्त करने के लिए हौसला चाहिए ! हम जुल्म बर्दाश्त कर लेंगे दुखों को सह लेंगे लेकिन मुल्क पर आंच नहीं आने देंगे!
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